कोलकाता, 27 सितम्बर (Udaipur Kiran News) . बारिश की आशंका के बीच सिटी आफ जॉय कोलकाता समेत पूरा West Bengal दुर्गा पूजा के स्वागत में उमंग और उल्लास से सराबोर है. Saturday से शुरू हो रहे इस पांच दिवसीय महापर्व में रोशनी, रंग और संगीत की ऐसी छटा बिखरने वाली है, जो पूर्वी भारत के इस सबसे बड़े सामाजिक सांस्कृतिक उत्सव को वैश्विक पहचान दिलाती है.
शहर में 3000 से अधिक सामुदायिक पूजा समितियां और पूरे राज्य में 40 हजार से ज्यादा पंडाल सजाए गए हैं. बीते दशकों में दुर्गा पूजा दुनिया के सबसे बड़े सार्वजनिक कला प्रदर्शन में बदल चुकी है. इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि सरकारी दफ्तर, निजी कंपनियां और केंद्रीय संस्थान तक चार दिनों के लिए बंद रहते हैं, यहां तक कि अखबारों की डिलीवरी भी ठप हो जाती है.
कारपोरेट जगत से मिलने वाले प्रायोजन के साथ यह महोत्सव बंगाल की अर्थव्यवस्था का बड़ा सहारा भी है. राज्य सरकार ने इस वर्ष प्रत्येक पूजा समिति को 1.10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया है. Chief Minister ममता बनर्जी ने पूरे राज्य में करीब 3000 पंडालों का उद्घाटन करते हुए कहा, “धर्म व्यक्तिगत है, लेकिन त्योहार सबके लिए होता है.”
युनेस्को ने 2021 में दुर्गा पूजा को अमूर्त सांस्कृतिक धरोहर की सूची में शामिल कर इसकी वैश्विक सांस्कृतिक महत्ता को मान्यता दी थी. इस बार भी पंडालों की थीमें उतनी ही विविध और कल्पनाशील हैं—कहीं परंपरा और साहित्य, तो कहीं आधुनिक सामाजिक संदेश.
खुदीराम कॉलोनी पूजा में 24 फुट ऊंची प्रतिमा पर्यावरण कार्यकर्ता सालुमरादा थिम्मक्का को समर्पित है, जिसका मुख्य विषय “विलुप्ति” है. वहीं, दमदम पार्क तरुण संघ ने ब्योमकेश बख्शी की जासूसी कहानियों को सजीव कर दिया है. हाथीबागान नवीन पल्ली ने भारत की महिला स्वतंत्रता सेनानियों के साहस को सलाम करते हुए इतिहास, साहित्य और सामाजिक सक्रियता का संगम प्रस्तुत किया है.
राजनीतिक रंगों से अछूता न रहने वाला यह पर्व आगामी विधानसभा चुनावों की पृष्ठभूमि में और भी महत्वपूर्ण हो उठा है. जहां तृणमूल कांग्रेस से जुड़े पंडाल “बंगाली अस्मिता” और प्रवासी मजदूरों के संघर्षों पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं, वहीं भाजपा नेता द्वारा आयोजित संतोष पूजा “आपरेशन सिंदूर” के जरिए सशस्त्र सेनाओं को श्रद्धांजलि देकर राष्ट्रवादी संदेश दे रही है.
हालांकि पिछले मंगलवार को हुई जोरदार बारिश ने तैयारियों को प्रभावित किया था और मौसम विभाग ने पांचों दिनों में बारिश की संभावना जताई है, लेकिन दुर्गा पूजा का उत्साह बिल्कुल भी कम नहीं हुआ है. कोलकाता दुल्हन की तरह सजकर अपने सबसे बड़े पर्व का स्वागत करने को तैयार है. ———————
(Udaipur Kiran) / ओम पराशर
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